
हल्द्वानी : एटीएस (ऑटोमैटिक टेस्टिंग स्टेशन) में भारी कमर्शियल वाहन और टैक्सी बाइक-स्कूटी की फिटनेस नहीं होने से वाहन चालक और स्वामियों की मुश्किलें लगातार बढ़ते जा रही हैं। आलम यह है कि फिटनेस प्रमाणपत्र के लिए उन्हें बार-बार आरटीओ कार्यालय के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं, लेकिन मैनुअल फिटनेस की सुविधा पूरी तरह बंद होने से यहां से भी केवल निराशा ही हाथ लग रही है। बेलबाबा स्थित एटीएस (ऑटोमेटेड टेस्टिंग स्टेशन) में भारी वाहनों के लिए उपयुक्त लेन नहीं होने के चलते जेसीबी, क्रेन जैसे लोडेड वाहन और टैक्सी बाइक-स्कूटी की फिटनेस प्रक्रिया पूरी नहीं हो पा रही है। समय पर फिटनेस नहीं होने से सड़क पर चलने वाले वाहनों पर विभागीय कार्रवाई हो रही है। उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार के आदेश के अनुसार प्रदेशभर में वाहनों की मैनुअल फिटनेस पूरी तरह बंद कर दी गई है और सभी संभागीय परिवहन कार्यालयों के अंतर्गत पंजीकृत वाहनों की फिटनेस एटीएस के माध्यम से की जा रही है। लेकिन बेलबाबा स्थित एटीएस के पास उपयुक्त लेन नहीं होने से भारी कमर्शियल वाहन सहित टैक्सी बाइक-स्कूटी स्वामी वाहनों की फीस जमा नहीं होने से फिटनेस नहीं करा पा रहे हैं। जिससे उन्हें बेवजह के चालान व अन्य विभागीय कार्यवाही का सामना करना पड़ रहा है। एआरटीओ बीके सिंह ने बताया कि आरटीओ कार्यालय में इस तरह के कई मामले सामने आ रहे हैं। बताया कि ऐसे वाहन चालक या स्वामी से प्रत्यावेदन लेकर परिवहन मुख्यालय देहरादून भेजा जा रहा है। मुख्यालय से जारी निर्देश के अनुसार ही आगे की कार्यवाही की जाएगी। इधर, वाहन स्वामियों की मांग है कि जब तक एटीएस में सभी श्रेणी के वाहनों के लिए उचित व्यवस्था नहीं हो जाती, तब तक मैनुअल फिटनेस प्रक्रिया को अस्थाई रूप से पुनः शुरू किया जाए, ताकि वाहन सड़क पर चल सकें और उनकी आजीविका प्रभावित न हो।


