
हल्द्वानी। कुमाऊं कमिश्नर दीपक रावत के मंगलवार को हल्द्वानी तहसील में औचक छापे के बाद पहली बड़ी कार्रवाई सामने आई है। तहसील में मिली अनगिनत गड़बड़ियों के चलते तहसीलदार मनीषा बिष्ट को तत्काल प्रभाव से हटाकर सुदूर धारी तहसील भेज दिया गया है। उनकी जगह लालकुआं के तहसीलदार कुलदीप पांडे को हल्द्वानी तहसील का नया जिम्मा सौंपा गया है।मंगलवार को कमिश्नर दीपक रावत के नेतृत्व में प्रशासनिक टीम ने हल्द्वानी तहसील का औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान तहसील के कामकाज में भारी अनियमितताएं पाई गईं, जिससे कमिश्नर ने गहरी नाराजगी व्यक्त की थी। निरीक्षण में कई फाइलों का निस्तारण लंबित पाया गया और रिकॉर्ड के रखरखाव में भी खामियां उजागर हुई थीं।
सबसे चौंकाने वाला खुलासा तब हुआ जब एक कानूनगो के घर से सरकारी फाइलें और दस्तावेज बरामद हुए, जो इस बात की ओर इशारा करता है कि तहसील के महत्वपूर्ण काम निजी आवास से संचालित किए जा रहे थे।सूत्रों के अनुसार, कमिश्नर रावत ने निरीक्षण के दौरान ही तहसीलदार मनीषा बिष्ट की कार्यशैली पर असंतोष जताया था। तहसील में व्याप्त अव्यवस्थाओं और जनता के कार्यों में हो रही हीलाहवाली को गंभीरता से लेते हुए शासन स्तर पर इसकी रिपोर्ट भेजी गई थी। इसी रिपोर्ट के आधार पर बुधवार को तहसीलदार मनीषा बिष्ट के स्थानांतरण का आदेश जारी कर दिया गया।प्रशासनिक हलकों में इस कार्रवाई को एक बड़े संदेश के रूप में देखा जा रहा है। कमिश्नर दीपक रावत अपनी सख्त कार्यशैली के लिए जाने जाते हैं और उनके इस एक्शन से यह साफ हो गया है कि सरकारी कामकाज में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।नवनियुक्त तहसीलदार कुलदीप पांडे के लिए हल्द्वानी तहसील का कार्यभार एक बड़ी चुनौती होगी। उन्हें न केवल यहां की व्यवस्थाओं को पटरी पर लाना होगा, बल्कि जनता के बीच प्रशासन की धूमिल हुई छवि को भी सुधारना होगा। पांडे को लालकुआं में उनके कुशल कार्य के लिए जाना जाता है और उम्मीद है कि वह हल्द्वानी में भी प्रशासनिक सुधारों को तेजी से लागू करेंगे।


